कोटडीया राठौड़:- जगमाल के पुत्र कुँपा व खींव्सी ने कोटड़ा पर अधिकार किया अतः कुँपा व खींव्सी के वंशज कोटडीया गाँव (इलाके) में रहने के नाम से कोटडीया राठौड़ कहलाये । इनके गाँव बाड़मेर में, कोटड़ा, बलाई, भिंयाड़ इत्यादि है । कोटड़ा गाँव बाड़मेर से लगभग 53 किलोमीटर दूर शिव तहसील में है।
कोटडीया राठौड़ो का पीढी क्रम इस प्रकार है -
1.रावल कुँपा जी - रावल जगमाल जी - रावल मल्लिनाथ जी (मंडलीक) - राव सलखा जी
2.रावल खींव्सी जी – रावल जगमाल जी - रावल मल्लिनाथ जी (मंडलीक) - राव सलखा जी
ख्यात अनुसार पीढी क्रम ईस प्रकार है -
1. महाराजराजा यशोविग्रह जी (कन्नौज राज्य के राजा)
2. महाराजराजा महीचंद्र जी
3. महाराज राजा चन्द्रदेव जी
4. महाराजराजा मदनपाल जी (1154)
5. महाराज राजा गोविन्द्र जी
6. महाराज राजा विजयचन्द्र जी जी (1162)
7. महाराज राजा जयचन्द जी (कन्नौज उत्तर प्रदेश1193)
8. राव राजा सेतराम जी
9. राव राजा सीहा जी (बिट्टू गांव पाली, राजस्थान1273)
10. राव राजा अस्थान जी (1292)
11. राव राजा दूहड़ जी (1309)
12. राव राजा रायपाल जी (1313)
13. राव राजा कान्हापाल जी (1323)
14. राव राजा जलमसी जी (राव जालण जी) (1328)
15. राव राजा चड़ा जी (राव छाडा जी) (1344)
16. राव राजा तिडा जी (राव टीडा जी) (1357)
17. राव राजा सलखा जी (1374)
18. रावल मल्लिनाथ जी (मंडलीक)
19. रावल जगमाल जी
· रावल कुँपा जी (जगमाल के पुत्र)
· रावल खींव्सी जी (जगमाल के पुत्र)
રાવલ કૂમ્પાજી કૈ વંશજો કે બરમે કોય જાણકારી હોય તો બતાયે.....
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